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सर्वेश श्रीवास्तव/ अयोध्या : अयोध्या में प्रभु राम 22 जनवरी 2024 को भव्य मंदिर में दोपहर 12:20 पर विराजमान होंगे. भगवान राम के विराजमान होने को लेकर पूरे देश में राममय का वातावरण बनाया जाएगा. भगवान राम के भव्य महल में विराजमान होने के साथ-साथ उनके ठाठ में भी बदलाव किया जाएगा. जिसमें उनकी पूजा पद्धति भी कुछ अलग ही रहेगी. भगवान राम की पूजा पद्धति को लेकर श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट इन दिनों योग्य पुजारियों (अर्चकों) की तलाश कर रहा है.राम मंदिर ट्रस्ट ने प्रभु रामलला के लिए अर्चकों की एक रूपरेखा तैयार की थी. इसके बाद लगभग 3000 अर्चकों ने आवेदन किया था. जिसमें से बीते दिनों 225 अर्चकों का साक्षात्कार भी किया गया. अब उन 225 अर्चकों में से श्री राम मंदिर ट्रस्ट 20 अर्चकों को राम मंदिर में नियुक्त करेगा. इन 20 अर्चकों को 6 महीने तक वेद की रामानंदी प्रथा की तथा विद्वानों के द्वारा भगवान राम लाल के लिए तैयार की गई. विशेष पुस्तक नूतन पोथी के लिए शिक्षण प्रशिक्षण दिया जाएगा. इसके बाद इन्हें राम मंदिर परिसर में रामलला के अर्चक के तौर पर नियुक्त किया जाएगा.योग्‍य अर्चकों की होगी नियुक्तियांश्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा बताते हैं कि राम मंदिर ट्रस्ट राम मंदिर में अर्चक के लिए अर्चक प्रशिक्षण केंद्र राम मंदिर ट्रस्ट प्रारंभ करने जा रहा है. राम भक्तों को योग्य अर्चक मिले इसके लिए तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट 20 ऐसे अर्चकों की तलाश कर रहा है. 225 चयनित बटुक में से 20 सर्वश्रेष्ठ को प्रतियोगिता परीक्षा के द्वारा चुना जाएगा. जिन्हें 6 महीने तक निशुल्क प्रशिक्षण दिया जाएगा. इस दरमियान प्रशिक्षण ले रहे बटुकों को आवासीय सुविधा मिलेगी किसी भी प्रकार से प्रशिक्षु बटुकों से शुल्क नहीं लिया जाएगा. प्रशिक्षण के दौरान उन्हें प्रो ₹2000 प्रोत्साहन राशि भी दी जाएगी..FIRST PUBLISHED : November 22, 2023, 21:20 IST

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