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गाजियाबाद. जिले के अस्‍पताल में बिना चीड़ फाड़ के और मरीज को बेहोश किए गए बगैर हृदय का वाल्व लगाया है. यह अपने आप में जटिल सर्जरी थी. मरीज अब पूरी तरह से स्‍वस्‍थ्‍य हैं और उसे डिस्‍चार्ज कर घर भेज दिया गया है. डाक्‍टरों के अनुसार चूंकि मरीज का हृदय काफी कमजोर था, इसलिए जांघ के रास्ते से तार से छतरीनुमा उपकरण को खराब वॉल्व के स्थान पर सफलतापूर्वक प्रतिस्थापित कर दिया.

गाजियाबाद के कौशाम्बी स्थित यशोदा सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल में मरीज को एक दुर्लभ प्रोसिजर को सफलतापूर्वक किया गया. साहिबाबाद के 65 वर्षीय मरीज का एओर्टिक वॉल्व सिकुड़ गया था.विभिन्न अस्पतालों में एवं डॉक्टरों को दिखाने के बाद भी उनको कोई आराम नहीं मिला. उनके हृदय की कार्यगति केवल 19 प्रतिशत रह गयी थी, जिसकी वजह से कोई भी अस्पताल उनका प्रोसिजर करने के लिए तैयार नहीं हुआ.

बाद में यशोदा सुपर स्पेशियलिटी अस्‍पताल के हृदय रोग टीम के विशेषज्ञ डॉ. असित खन्ना और डॉ. आयुष गोयल से परामर्श किया. हृदय रोग टीम ने इस प्रोसिजर को एक ओपन हार्ट सर्जरी के वैकल्पिक प्रक्रिया ट्रांस कैथेटर एओर्टिक वॉल्व रिपलेस्मेन्ट विधि द्वारा करने की सहमति प्रदान की.चूंकि मरीज का हृदय काफी कमजोर था, इसलिए प्रोसिजर को 6 मार्च को डॉक्टरों की टीम ने जांघ के रास्ते से तार से छतरीनुमा उपकरण को खराब वॉल्व के स्थान पर सफलतापूर्वक प्रतिस्थापित कर दिया.

इस प्रोसिजर में किसी भी तरह की बड़ी चीर-फाड़ नहीं की गई और ओपन हार्ट सर्जरी की अपेक्षा मात्र डेढ़ घंटे में इस प्रोसिजर को कर दिया गया. इसमे मरीज को बेहोश भी नही किया गया. डॉक्टरों की टीम में वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. असित खन्ना, डॉ. धीरेन्द्र सिंघानिया, कन्सलटेन्ट हृदय रोग, ऐओर्टिक सर्जन डॉ. आयुष गोयल, कार्डियक एनेस्थेटिस्ट डॉ. गौरव कनवर शामिल थे. डॉ. असित खन्ना ने बताया की प्रोसिजर के दूसरे दिन ही मरीज चलने-फिरने लगा था और 9 मार्च 2023 को मरीज की अस्पताल से छुट्टी कर दी गयी.
ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें News18 हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट News18 हिंदी|Tags: Ghaziabad News, HealthFIRST PUBLISHED : March 15, 2023, 18:06 IST

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