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दिल की बीमारी दुनिया भर में मौत का एक प्रमुख कारण है और भारत में इसका प्रसार पिछले पांच वर्षों में बढ़ा है. इतना ही नहीं, पिछले कुछ सालों में युवाओं में हार्ट अटैक के मामले काफी तेजी से बढ़े हैं. अब हाल ही में नोएडा में बीते रविवार को क्रिकेट खेलते हुए एक इंजीनियर को मैदान पर ही हार्ट अटैक आ गया और उसकी मौत हो गई.
मृतक इंजीनियर विकास नेगी रन लेने के लिए पिच के दूसरी तरफ दौड़ा, लेकिन बीच रास्ते में ही गिर गया. उसे गिरते देख विकेटकीपर उसकी तरफ दौड़ा, जबकि अन्य खिलाड़ी भी मदद के लिए दौड़े. इसके बाद उसे तुरंत नजदीक के अस्पताल ले जाया गया जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया.विकास को हुआ था कोविडइंजीनियर की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में डॉक्टरों ने हार्ट अटैक को मौत का कारण बताया है. बताया जा रहा है कि विकास को पहले कोविड हुआ था, जिसके बाद वह स्वस्थ हो गए थे. खुद को फिट रखने के लिए वह अक्सर नोएडा और दिल्ली में क्रिकेट खेलता थे.
कम उम्र में हार्ट अटैकदिल से संबंधित मुद्दों में इस वृद्धि का श्रेय हमारी तेज-तर्रार जीवनशैली और आदतों में बदलाव को दिया जाता है. पहले माना जाता था कि हार्ट अटैक केवल बुजुर्गों को प्रभावित करता है, लेकिन अब यह 30 से 40 वर्ष की आयु के हर दूसरे युवा को प्रभावित कर रहा है.
हार्ट अटैक के रिस्क फैक्टरहार्ट अटैक के रिस्क फैक्टर में तंबाकू का उपयोग, हाई कोलेस्ट्रॉल, हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और मोटापा शामिल हैं. एक हेल्दी लाइफस्टाइल अपनाने से इन रिस्क फैक्टर को कम किया जा सकता है. इसमें स्वस्थ आहार खाना, नियमित व्यायाम करना, धूम्रपान न करना और शराब का सेवन सीमित करना शामिल है.
जागरूकता जरूरीदिल की बीमारी को रोकने के लिए जागरूकता पैदा करना महत्वपूर्ण है. इस लेख को अपने दोस्तों और परिवार के साथ शेयर करें ताकि वे हार्ट अटैक के रिस्क फैक्टर और लक्षणों के बारे में जान सकें. मुझे आशा है कि यह लेख आपको हार्ट अटैक के बारे में अधिक जानकारी प्रदान करेगा. यदि आपके कोई प्रश्न हैं, तो कृपया नीचे टिप्पणी करें.

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