यमुना एक्सप्रेस वे के 20 पाइंट पर एक्सीडेंट रोकने को हो रहा है यह बड़ा काम, जानिए प्लान

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नोएडा. एक आंकड़े के मुताबिक नोएडा (Noida) को आगरा से जोड़ने वाले यमुना एक्सप्रेस वे (Yamuna Expressway) पर 24 फीसद एक्सीडेंट हाईस्पीड के चलते होते हैं. वहीं 165 किमी लम्बे एक्सप्रेस वे पर 20 स्पॉट ऐसे भी हैं जहां सबसे ज्यादा एक्सीडेंट (Accident) होते हैं. ऐसे ही चिन्हित 20 पाइंट पर एक्सीडेंट को रोकने के लिए एक्सप्रेस वे का संचालन करने वाली कंपनी जेपी अब एक बड़ा कदम उठाने जा रही है. यमुना एक्सप्रेस वे पर स्पीड कैमरे (Speed Camera) लगाए जाएंगे. दिवाली से पहले कैमरे लगाने का काम पूरा कर लिए जाने की उम्मीद है.
एक्सप्रेस वे पर यहां लगाए जाएंगे 20 हाईस्पीड कैमरे
एक सर्वे में यमुना एक्सप्रेस वे के उन 20 स्पॉट को चिन्हित कर लिया गया है जहां हाईस्पीड के चलते सबसे ज्यादा एक्सीडेंट हो रहे हैं. यह स्पॉट आगरा में झरना नाला, मथुरा, बल्देव के पास, जेवर और नोएडा में हैं. वैसे एक्सीडेंट के बड़े कारणों में जिग-जैग ड्राइविंग, थकान और ध्यान भटकना भी है. लेकिन हाईस्पीड इसलिए ज्यादा खतरनाक मानी गई है क्योंकि स्पीड के चलते टायर फट जाने से हादसा और भीषण हो जाता है.
आरटीआई थोड़ी पुरानी है, लेकिन आगरा डवलपमेन्ट फाउण्डेशन (एडीएफ) के सचिव केसी जैन को दिनांक 11.11.2016 को जो सूचना उपलब्ध करायी गयी थी उसके अनुसार जहां वर्ष 2015 में जेवर टोल से 62,71,147 वाहन गुजरे थे, लेकिन उसमें से ओवर स्पीडिंग के लिए चालानों की संख्या सिर्फ 8156 थी. मतलब 10 हजार वाहनों में से सिर्फ 13 वाहनों का चालान हुआ था.
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वर्षवार इस प्रकार चालान हुए थे-
वर्ष जेवर टोल पर वाहनों की संख्या चालानों की संख्या
2012 में  11.47 लाख वाहन गुजरे और 911 0 का चालान काटा गया.
2013  42.09 लाख वाहन गुजरे और 2303 का चालान काटा गया.
2014  53.79 लाख वाहन गुजरे और 2915 का चालान काटा गया.
2015  62.71 लाख वाहन गुजरे और 8156 का चालान काटा गया.

एडीएफ का कहना है कि कम से कम 50 प्रतिशत वाहन निर्धारित गति सीमा का उल्लघंन करते हैं. ऐसी स्थिति में येडा और पुलिस दोनों के पास ही तेज गति से चलने वाले वाहनों का ब्यौरा है लेकिन उनके द्वारा कोई प्रभावी कार्यवाही न किया जाना व चालान न करना ही हादसों का मुख्य कारण है. एक्सप्रेस वे पर चलने वालों को चालान का कोई भय ही नहीं है. यह भी ज्ञातव्य हो कि सेन्ट्रल रोड रिसर्च इन्स्टीट्यूट (सीआरआरआई) द्वारा यमुना एक्सप्रेस वे पर दुर्घटनाओं के मुख्य कारण ओवर-स्पीडिंग और टायरों का फटना बताया गया था लेकिन इन दोनों ही कारणों को रोकने के लिए कोई ठोस प्रयास नहीं किया गया.पढ़ें Hindi News ऑनलाइन और देखें Live TV News18 हिंदी की वेबसाइट पर. जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश, बॉलीवुड, खेल जगत, बिज़नेस से जुड़ी News in Hindi.



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