world stroke day 2021 know facts and myths about stroke and brain stroke symptoms samp | इस तरह मुस्कुराना होता है इस खतरनाक बीमारी का पहला लक्षण, 4 घंटे के अंदर हॉस्पिटल ले जाना है जरूरी

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Brain Stroke Facts: हर साल 29 अक्टूबर को वर्ल्ड स्ट्रोक डे (world stroke day 2021) मनाया जाता है. अधिकतर लोग समझते हैं कि स्ट्रोक दिल की बीमारी है, लेकिन असल में यह दिमाग से जुड़ी होती है. कैंसर की तरह ही स्ट्रोक (आघात) के कारण भी हर साल कई मौतें हो रही हैं. मगर फिर भी लोगों को स्ट्रोक डिजीज के बारे में बहुत कम जानकारी (Brain stroke in hindi) होती है. इसलिए इस विश्व स्ट्रोक दिवस पर हम आपको स्ट्रोक से जुड़े फैक्ट्स बताने जा रहे हैं.

Brain Stroke: स्ट्रोक क्या होता है?

जेपी हॉस्पिटल के न्यूरोलॉजी विभाग के सीनियर कंसल्टेंट डॉ. मनीष गुप्ता के मुताबिक, स्ट्रोक को ब्रेन अटैक (brain attack) भी कहा जाता है. जिसमें दिमाग तक जाने वाला ब्लड फ्लो ब्लॉक हो जाता है या फिर दिमाग की रक्त वाहिका फट जाती है. स्ट्रोक होने के बाद समय पर चिकित्सीय मदद ना मिलने के कारण जान गंवाने का खतरा होता है. स्ट्रोक (दिमागी आघात) के मुख्यतः दो प्रकार होते हैं. जैसे-

इस्कीमिक स्ट्रोक (Ischemic stroke) – इस में दिमाग तक जाने वाला रक्त प्रवाह रुक जाता है. जिससे दिमाग की कार्य क्षमता पर गहरी आघात होता है.
हेमरेजिक स्ट्रोक (Hemorrhagic stroke) – इमें ब्रेन हेमरेज भी कहा जाता है. जिसमें दिमाग में कोई रक्त वाहिका फट जाती है और बलीडिंग होने लगती है.
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Stroke Symptoms: स्ट्रोक के लक्षण याद रखने का सबसे आसान तरीका

डॉ. मनीष गुप्ता, ब्रेन स्ट्रोक के लक्षण (symptoms of brain stroke) याद रखने का सबसे आसान तरीका तरीका बताते हैं. जिसमें वह FAST नामक शॉर्ट फॉर्म याद करने के लिए कहते हैं.

F= Face drooping = व्यक्ति से मुस्कुराने के लिए कहें, इसमें चेहरे का एक हिस्सा निष्क्रिय या गिरा हुआ रहता है.A= Arm weakness = व्यक्ति से दोनों हाथ उठाने के लिए कहें. इसमें एक हाथ नीचे की ओर गिरा रहेगा.S= Speech difficulty = व्यक्ति से एक आसान-सा संवाद दोहराने के लिए कहें. इसमें शब्द साफ नहीं बोल पाते हैं.T= Time to call = इन लक्षणों को दिखने पर तुरंत हॉस्पिटल ले जाएं. स्ट्रोक का इलाज एंबुलेंस के अंदर ही शुरू किया जा सकता है.

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जेपी हॉस्पिटल के डॉ. मनीष गुप्ता ने दिमागी आघात यानी ब्रेन स्ट्रोक से जुड़े कुछ फैक्ट्स के बारे में बताया.

एक्सपर्ट के मुताबिक, स्ट्रोक किसी भी उम्र के व्यक्ति को हो सकता है. लोगों को गलत लगता है कि यह सिर्फ बुजुर्ग लोगों में ही होता है. एक्सपर्ट के मुताबिक, खराब जीवनशैली और मोटापे के कारण 18 से 65 साल के किसी भी व्यक्ति को स्ट्रोक हो सकता है.
लोगों को गलत लगता है कि स्ट्रोक की बीमारी कम होती है. फैक्ट यह है कि स्ट्रोक के मामले काफी आते हैं और कई देशों में यह खतरनाक दिमागी बीमारी काफी आम है.
एक्सपर्ट के मुताबिक, स्ट्रोक से बचाव मुमकिन है. चूंकि, स्ट्रोक के मुख्य कारण ब्लड प्रेशर की समस्या, डायबिटीज और मोटापा होते हैं, इसलिए हेल्दी लाइफस्टाइल की मदद से इस बीमारी से बचाव किया जा सकता है.
स्ट्रोक के कारण एक क्लॉट रह जाता है और लोगों को लगता है कि यह क्लॉट पूरी तरह ठीक नहीं हो सकता है. लेकिन ये स्ट्रोक मिथ (myth about stroke) है. क्योंकि, अगर मरीज में स्ट्रोक के लक्षण दिखने के सिर्फ 4 घंटे के अंदर हॉस्पिटल ले जाया जाए, तो डॉक्टर दिमागी नुकसान को बिल्कुल रिवर्स (उल्टा) कर सकता है.
स्ट्रोक मिथ है कि यह आनुवांशिक नहीं होता है. जबकि स्ट्रोक का खतरा पीढ़ी दर पीढ़ी चल सकता है. हाइपरटेंशन और मोटापे की तरह ही स्ट्रोक भी हेरेडिटरी है. अगर किसी व्यक्ति को बहुत कम उम्र में स्ट्रोक आता है, तो इसका मतलब है कि इसके पीछे की वजह क्लॉटिंग डिसऑर्डर या कार्डिएक ट्यूमर हो सकता है, जो कि उन्हें पिछली पीढ़ी से मिला हो.
यहां दी गई जानकारी किसी भी चिकित्सीय सलाह का विकल्प नहीं है. यह सिर्फ शिक्षित करने के उद्देश्य से दी जा रही है.



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