Varanasi: 400 साल पुरानी मुगलकालीन कारीगरी से बनी जूलरी की धूम, दीपावली में बढ़ी डिमांड

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Varanasi: 400 साल पुरानी मुगलकालीन कारीगरी से बनी जूलरी की धूम, दीपावली में बढ़ी डिमांड



अभिषेक जायसवाल
वाराणसी. उत्तर प्रदेश के वाराणसी में दीपावली (Deepawali) से पहले गुलाबी मीनाकारी के कारीगरों के चेहरे की चमक बढ़ गई है. कभी मूर्तियों और शो-पीस के लिए मशहूर रही यह कारीगरी अब जूलरी बाजार में भी धूम मचा रही है. दीपावली से पहले इससे जुड़े कारीगरों के पास गुलाबी मीनाकारी से बनी जूलरी के ऑर्डर की भरमार है. वाराणसी के कारीगरों के पास देश भर से इन खूबसूरत जूलरी के ऑर्डर आ रहे हैं.
बनारस के गाय घाट के रहने वाले गुलाबी मीनाकारी के कारीगर रमेश कुमार विश्वकर्मा ने बताया कि दीपावली पर पूर देश से इसके लिए ऑर्डर आ रहे हैं. इसमे पेंडेंट, इयर रिंग, कफलिंग, चूड़ियां जैसी बहुत सी वैरायटी शामिल हैं. उन्होंने कहा कि एक वक्त ऐसा भी था जब 400 साल पुरानी बनारस की यह कारीगरी खत्म होने के कगार पर थी, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसको नई संजीवनी दी है.
PM नरेंद्र मोदी ने दी नई पहचानदरअसल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब भी विदेश दौरे पर जाते हैं तो अक्सर देखा जाता है कि वो बनारस की इस नायाब कलाकारी के सामानों को उपहार स्वरूप मेहमानों को भेंट करते हैं. इसके कारण पूरी दुनिया में अब इस कलाकारी को नई पहचान मिली है. सरकार के वन डिस्ट्रिक्ट, वन प्रोडक्ट योजना से भी मीनाकारी में बूम आया है, और आज हालात यह है कि जो कारीगर कभी इस काम को छोड़ दूसरे कामों में लगे थे वो अब इसमें वापस लौट रहे हैं.
400 साल पुराना है इतिहासबता दें कि बनारस के गुलाबी मीनाकारी का इतिहास मुगलकाल से जुड़ा है. मुगलकाल के वक्त यह कला बनारस आई थी. वर्तमान में बनारस के गाय घाट इलाके में इससे जुड़े गिने चुने कारीगर हैं जो इस नायाब सामानों को तैयार करते हैं.ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें News18 हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट News18 हिंदी|Tags: Banaras news, Jewellery companies, Up news in hindi, Varanasi newsFIRST PUBLISHED : October 11, 2022, 19:45 IST



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