अभिषेक जायसवाल/वाराणसी : शरद पूर्णिमा का दिन बेहद खास होता है. इसे पूनम पूर्णिमा के नाम से भी जानते है. इसके अलावा शरद पूर्णिमा के दिन कोजागर पूजा भी होती है. इस दिन धन और ऐश्वर्य की देवी माता लक्ष्मी के पूजन का भी विधान है. ऐसी मान्यता है कि माता लक्ष्मी इस दिन पृथ्वी लोक का भ्रमण करती है. ऐसे में उन्हें प्रसन्न करने के लिए ये दिन बेहद खास होता है.
धार्मिक मान्यता के अनुसार शरद पूर्णिमा के दिन समुद्र मंथन से मां लक्ष्मी उत्पन्न हुई है. इसके अलावा साल के 12 पूर्णिमा में इस पूर्णिमा को श्रेष्ठ माना जाता है. क्योंकि इस दिन चंद्रमा 16 कलाओं से युक्त होता है और चंद्रमा की किरणों से अमृत वर्षा होती है.
शरद पूर्णिमा पर छः शुभ संयोगकाशी के ज्योतिषाचार्य स्वामी कन्हैया महाराज ने बताया कि इस बार शरद पूर्णिमा पर 6 शुभ संयोग बन रहें है. हिन्दू पंचाग के अनुसार इस बार शरद पूर्णिमा पर गज केशरी योग के साथ रवि योग, सिद्धि योग ,शश योग, त्रिग्रही योग के साथ बुधादित्य योग का अद्भुत संयोग है. जिसमे माता लक्ष्मी की पूजा करना बेहद शुभ माना जाता है. आइये जानते है इस दिन कौन-कौन से समय आप माता लक्ष्मी के साथ कोजागर पूजा कर उनका आशीर्वाद पा सकतें हैं.
रवि योग : 28 अक्टूबर को सुबह 6 बजकर 30 मिनट से सुबह 7 बजकर 21 मिनट तक रहेगा.
सिद्धि योग : 28 अक्टूबर को रात 10 बजकर 52 मिनट से 29 अक्टूबर की सुबह 8 बजे रहेगा.
गज केशरी योग : 28 अक्टूबर को सुबह 7 बजकर 32 मिनट से गज केशरी योग की शुरुआत होगी जो अगले 48 घंटों तक रहेगा.
(नोट: इस खबर में दी गई जानकारियां धार्मिक मान्यताओं और ज्योतिषाशास्त्र पर आधारित है.News 18 इसके सत्यता की पुष्टि नहीं करता है.)
.Tags: Dharma Aastha, Local18, Religion 18, Uttar Pradesh News Hindi, Varanasi newsFIRST PUBLISHED : October 26, 2023, 21:24 IST
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