संन्यास के बाद खुलकर सामने आए हरभजन सिंह, MS Dhoni पर लगाए ये बड़े आरोप

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नई दिल्ली: टीम इंडिया (Team India) के पूर्व दिग्गज ऑफ स्पिनर हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने हाल ही में इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास लिया था. क्रिकेट छोड़ने के बाद हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) खुलकर सामने आए हैं और उन्होंने एक के बाद एक जमकर खुलासे किए हैं. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) पर गंभीर आरोप लगाए हैं. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) के मुताबिक उन्हें बिना कोई कारण बताए टीम इंडिया (Team India) से बाहर किया गया था.
संन्यास के बाद खुलकर सामने आए हरभजन
वर्ल्ड कप 2011 के बाद से हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने सिर्फ 10 वनडे और 10 टेस्ट मैच खेले थे. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) को 2013 चैंपियंस ट्रॉफी और 2015 वर्ल्ड कप के लिए भी टीम में शामिल नहीं किया गया था. महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) के कारण टीम इंडिया में रविचंद्रन अश्विन (R Ashwin) की एंट्री हुई. रविचंद्रन अश्विन (R Ashwin) के आते ही इंटरनेशनल क्रिकेट से हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) का पत्ता साफ हो गया. संन्यास के बाद हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने अब अपनी भड़ास निकाली है. 
धोनी पर लगाए ये बड़े आरोप
हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने कहा, ‘400 विकेट वाले किसी खिलाड़ी को कैसे आउट किया जा सकता है. यह अपने आप में एक रहस्यमयी कहानी है, जो अभी तक सामने नहीं आई है. मुझे अभी भी आश्चर्य है, ‘वास्तव में क्या हुआ? मेरे टीम में बने रहने से किसे दिक्कत थी?’ हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने खुलासा किया कि उन्होंने पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) से उनकी अनुपस्थिति का कारण पूछने की कोशिश की थी, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला. एक बार जब उन्हें एहसास हुआ कि जवाब मांगने का कोई मतलब नहीं है, तो फिर हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने कारण पूछना बंद कर दिया. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने कहा, ‘मैंने कप्तान (धोनी) से पूछने की कोशिश की, लेकिन मुझे कोई कारण नहीं बताया गया. मुझे एहसास हुआ कि इसका कारण पूछने का कोई मतलब नहीं है और इसके पीछे कौन है, क्योंकि अगर आप पूछते रहते हैं और कोई जवाब नहीं देता है, तो इसे छोड़ देना बेहतर है.’
हरभजन सिंह ने फैंस को दिया बड़ा झटका
हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने साल 1998 में चेन्नई में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट मुकाबले के साथ अपने अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत की. इसके बाद उसी साल न्यूजीलैंड के खिलाफ हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने वनडे डेब्यू किया था. साल 2006 में साउथ अफ्रीका (South Africa) के खिलाफ हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने अपना टी20 डेब्यू किया था. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) 2016 से ही टीम इंडिया से बाहर चल रहे थे. खबरों की माने तो वह IPL की किसी फ्रेंचाइजी के सपोर्ट स्टाफ या कोच बन सकते हैं. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) मेगा ऑक्शन में भी किसी टीम के लिए अहम भूमिका निभा सकते हैं. 
16 साल तक भज्जी का रहा जलवा
हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) पूरे 16 साल तक देश के क्रिकेट खेली और खूब सफल भी रहे. उन्होंने भारतीय टीम के लिए 103 टेस्ट मैच, 236 वनडे मैच और 28 टी20 इंटरनेशनल मैच खेले थे. टेस्ट क्रिकेट में उन्होंने 417 विकेट लिए थे, जबकि वनडे में उनके नाम पर 269 विकेट दर्ज हैं. वहीं, टी20 इंटरनेशनल मैचों में वो 25 विकेट लेने में सफल रहे थे. पंजाब से आने वाले हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने अपना आखिरी टेस्ट 2015 में श्रीलंका के खिलाफ खेला था. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) का आखिरी वनडे मुकाबला 2015 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ था. 2016 में हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने यूएई के खिलाफ एशिया कप में अपना आखिरी टी-20 मैच खेला था.
417 टेस्ट विकेट लेने का रिकॉर्ड
हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने टीम इंडिया के लिए 103 टेस्ट मैच खेले हैं. उनके नाम 417 विकेट दर्ज है. वनडे में उन्होंने 236 मैचों में 269 विकेट लिए हैं. टी-20 में भज्जी ने भारत के लिए 28 मुकाबले खेले हैं. इनमें उन्होंने 25 विकेट झटके हैं. 2016 में हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने यूएई के खिलाफ एशिया कप में अपना आखिरी टी-20 मैच खेला था. IPL में हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) के नाम 163 मैच में 150 विकेट दर्ज है. IPL में वे मुंबई इंडियंस, चेन्नई सुपर किंग्स और कोलकाता नाइट राइडर्स के लिए खेल चुके हैं. 41 साल के हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) इस IPL सीजन में कोलकाता नाइट राइडर्स का हिस्सा थे. हालांकि, IPL 2021 के दूसरे फेज में उन्हें एक भी मैच खेलने का मौका नहीं मिला. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच 2016 में खेला था.
कोलकाता में हैट्रिक लेकर दिलाई थी ऐतिहासिक जीत 
हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) की गिनती दिग्गज ऑफ स्पिनरों के रूप में होती है. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) ने अपनी गेंदबाजी से टीम इंडिया को कई मुकाबले जिताए. उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 2001 में कोलकाता के ईडन गार्डन्स में खेले गए ऐतिहासिक टेस्ट मैच में हैट्रिक भी झटकी थी. हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) उस वक्त सिर्फ 21 साल के थे और उस मुकाबले के बाद हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) टीम इंडिया का अहम हिस्सा बन गए थे. लेग स्पिनर अनिल कुंबले के साथ उनकी जोड़ी ने टीम इंडिया को कई ऐतिहासिक जीत दिलाई हैं. 2000 से लेकर 2010 तक हरभजन सिंह (Harbhajan Singh) और अनिल कुंबले की जोड़ी ने ही भारतीय स्पिन का मोर्चा संभाला था. 



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