परिवार में किसी को कैंसर हो तो क्या आपको भी हो सकती है ये बीमारी? एक्सपर्ट ने दिया जवाब

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इस सोसाइटी ने कर दिया कचरे से चमत्कार, 6 साल से अपना रहे हैं अनोखा तरीका

Agency:News18 Uttar PradeshLast Updated:February 22, 2025, 15:42 ISTSaharanpur: कैंसर की बीमारी अगर परिवार के एक या एक से ज्यादा लोगों को रही है तो आने वाली पीढ़ी को सावधान हो जाना चाहिए. ये जेनेटिक नहीं है और न ही संक्रमण से फैलती है पर इन्हें ये बीमारी होने की संभावना ज्यादा …और पढ़ेंX

पीढ़ी दर पीढ़ी ऐसे चलता है कैंसर, तुरंत करा ले जांच बच जाएगी जानहाइलाइट्सकैंसर जेनेटिक नहीं, लाइफस्टाइल से जुड़ा है.फैमिली हिस्ट्री में कैंसर की संभावना कम होती है.समय पर जांच और बचाव से कैंसर रोका जा सकता है.सहारनपुर. आजकल लोगों में कैंसर की बीमारी तेजी से पैर पसार रही है जोकि काफी जानलेवा है. इस बीमारी का समय रहते इलाज किया जाए तो जान बच सकती है, वर्ना कैंसर अपने साथ-साथ परिवार के अन्य साथियों को भी अपना शिकार बना सकता है. जी हां, आप ठीक सुन रहे हैं, यह हम नहीं बल्कि डॉक्टर बता रहे हैं. न्यूरोलॉजिस्ट डॉक्टर शरद अग्रवाल बताते हैं कि अगर किसी परिवार में किसी को कैंसर हो जाता है तो आने वाली उनकी जेनरेशन में भी कैंसर होने के आसार अधिक रहते हैं.

जेनेटिक नहीं है कैंसरकैंसर से जुड़े सभी मामलों में केवल 10 फीसदी मामले ऐसे होते हैं, जिसमें परिवार के एक सदस्य के बाद दूसरे सदस्य को कैंसर हुआ है. कैंसर फैमिली हिस्ट्री में हो सकता है, लेकिन इसकी संभावना बहुत ही कम होती है. अगर किसी परिवार में एक सदस्य के बाद दूसरे सदस्य को कैंसर हुआ है तो इसका कारण कैंसर का जेनेटिक होना नहीं, बल्कि परिवार के सदस्यों की लाइफस्टाइल और एनवायरमेंट जींस एक जैसे होना हो सकता है.

तुरंत कराएं अपनी जांचन्यूरोलॉजिस्ट डॉक्टर शरद अग्रवाल ने लोकल 18 से बात करते हुए बताया कि कैंसर कोई संक्रमण की बीमारी नहीं है, कैंसर एक लाइफस्टाइल डिजीज है. कैंसर के पीछे हमेशा डिफेक्टिव जींस होते हैं. ये जींस या तो माता-पिता के द्वारा जन्म से आपके अंदर आ जाते हैं, जिनको हम ऑन्को जीन कहते हैं. ये डॉर्मेंट अवस्था में पड़े रहते हैं, लेकिन कभी-कभी ऐसा नहीं भी होता है. जैसे बहुत छोटे बच्चों में ब्रेन का कैंसर होना, किडनी का कैंसर होना या अंडकोष का कैंसर होना. डॉर्मेंट जींस आपके बाहरी वातावरण या आंतरिक केमिकल्स के कारण परिवर्तित होकर मेनिफेस्ट करना शुरू कर देते हैं और सेल्स अनियंत्रित रूप से विभाजित होने लगते हैं, जिससे कैंसर डेवलप हो जाता है.

हमेशा ये जीन ही नहीं जिम्मेदारकभी-कभी आपके अंदर ऑन्को जीन नहीं होते हैं, ये जींस बाहरी वातावरण या आपके खानपान, रहन-सहन या किसी चीज के दुष्प्रभाव के कारण परिवर्तित हो जाते हैं और आपकी कोशिकाओं का अनियंत्रित विभाजन शुरू हो जाता है, फिर यह कैंसर के रूप में डेवलप हो जाता है. अगर आपके परिवार में इससे पहले भी कोई कैंसर से एक या एक से ज्यादा पीड़ित था तो इससे आपके अंदर भी कैंसर होने की संभावना होती है.

बचाव ही उपायपहले जमाने में तो हम लोग केवल उन अंगों का समय-समय पर स्कैनिंग करके इस बात का ध्यान रखते थे कि अगर मेनिफेस्टेशन हो तो पकड़ लें. लेकिन अब पहले तो अमेरिका में और अब हिंदुस्तान में भी यह सुविधा उपलब्ध है कि हम अपने ब्लड या फिर कुछ सेल्स की जांच कराकर जीन मैपिंग, जींस केसिंग के द्वारा यह पता कर सकते हैं कि वो ऑन्को जींस हमारे अंदर हैं कि नहीं. इसकी जांच करके हम समय से पहले ही इसके बचाव पर काम कर सकते हैं.
Location :Saharanpur,Uttar PradeshFirst Published :February 22, 2025, 15:42 ISThomelifestyleपरिवार में किसी को कैंसर हो तो क्या आपको भी हो सकती है ये बीमारी? जानें जवाबDisclaimer: इस खबर में दी गई दवा/औषधि और स्वास्थ्य से जुड़ी सलाह, एक्सपर्ट्स से की गई बातचीत के आधार पर है. यह सामान्य जानकारी है, व्यक्तिगत सलाह नहीं. इसलिए डॉक्टर्स से परामर्श के बाद ही कोई चीज उपयोग करें. Local-18 किसी भी उपयोग से होने वाले नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं होगा.

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