रजत भट्ट/गोरखपुर. उत्तर प्रदेश में मौजूद गोरखपुर शहर का इतिहास और पहचान बहुत पुरानी है. हर दौर में इसकी एक नई कहानी रही है और नए नाम से इसको पुकारा जाता रहा है, लेकिन शहर की पहचान नाथ संप्रदाय और पुराने सभ्यता संस्कृति की वजह से की जाती रही है. शहर को गोरखपुर नाम से अब पुकारा जाता है, लेकिन आठ बार नाम का पड़ाव पार करने के बाद शहर का यह नाम पड़ा. पिछले 2600 सालों में लगभग शहर का आठ बार नाम बदला गया है. कहा जाता है कि शहर में जब भी नया शासक आया उसने इसको नया नाम दिया, लेकिन अंत में इसका नाम गुरु गोरखनाथ के नाम पर गोरखपुर रख दिया गया, जो अब इस शहर की पहचान है.
गोरखपुर का नाम लगभग हर दौर में बदलता रहा. कहा जाता है कि दुनिया को योग से परिचित कराने वाले गुरु गोरखनाथ के नाम पर गोरखपुर का नाम रखा गया. यह नाम 217 साल पुराना है, इससे पहले इसे गोरखपुर सरकार के नाम से भी जाना जाता था. गोरखपुर यूनिवर्सिटी के हिस्ट्री डिपार्टमेंट के प्रोफेसर चंद्रभूषण बताते हैं कि शहर को कभी सूब ऐ सकि॔यां तो कभी अख्तनगर फिर गोरखपुर सरकार और मौअज्जमाबाद जैसे नाम से भी पुकारा जाता था, लेकिन अंग्रेजी हुकूमत ने 1801 में इसका नाम गोरखपुर रख दिया गया. फिर तब से अब तक इसे गोरखपुर के नाम से ही जाना जाता है.
.Tags: Gorakhpur news, History, Latest hindi news, Local18, UP newsFIRST PUBLISHED : August 30, 2023, 16:51 IST
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