Bird flu is mutating rapidly danger increases after first H5N1 death in America scientists warned | तेजी से म्यूटेट हो रहा बर्ड फ्लू, अमेरिका में पहली H5N1 मौत के बाद बढ़ा खतरा! वैज्ञानिकों ने दी चेतावनी

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Bird flu is mutating rapidly danger increases after first H5N1 death in America scientists warned | तेजी से म्यूटेट हो रहा बर्ड फ्लू, अमेरिका में पहली H5N1 मौत के बाद बढ़ा खतरा! वैज्ञानिकों ने दी चेतावनी



अमेरिका में बर्ड फ्लू (H5N1) से पहली मौत दर्ज होने के बाद वैज्ञानिकों ने इस खतरनाक वायरस के तेजी से म्यूटेट होने की चेतावनी दी है. इस घटना ने दुनियाभर में हेल्थ एक्सपर्ट की चिंता बढ़ा दी है. वैज्ञानिकों का कहना है कि यह वायरस केवल पक्षियों तक सीमित नहीं रह गया है, बल्कि अब इसके इंसानों में फैलने और घातक महामारी बनने की संभावना बढ़ रही है.
बर्ड फ्लू पक्षियों में पाया जाने वाला वायरस है. H5N1 इस वायरस का सबसे घातक प्रकार है, जो इंसानों में भी फैल सकता है. यह वायरस मुख्य रूप से संक्रमित पक्षियों के संपर्क में आने से फैलता है. संक्रमित पक्षी के पंख, मल और सांसों के जरिए यह वायरस इंसानों तक पहुंच सकता है.
अमेरिका में पहली मौत और वैज्ञानिकों की चेतावनीअमेरिका में H5N1 से पहली मौत के बाद वैज्ञानिकों ने इस वायरस के तेजी से म्यूटेट होने की ओर इशारा किया है. म्यूटेशन का मतलब है कि वायरस खुद को बदलकर ज्यादा खतरनाक रूप ले सकता है. इससे न केवल यह वायरस ज्यादा तेज़ी से फैल सकता है, बल्कि इसका इलाज और वैक्सीन भी मुश्किल हो सकता है.
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और अमेरिकी रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (CDC) ने इस मुद्दे पर सतर्कता बढ़ाने की अपील की है. विशेषज्ञों का कहना है कि वायरस का यह म्यूटेशन इसे इंसानों के बीच फैलने की क्षमता दे सकता है, जिससे यह महामारी का रूप ले सकता है.
क्या कहते हैं लक्षण?H5N1 संक्रमण के लक्षण आम फ्लू जैसे हो सकते हैं, लेकिन यह जल्दी गंभीर हो जाता है. इसमें तेज बुखार, खांसी, गले में दर्द, सांस लेने में दिक्कत और थकान शामिल हैं. अगर इलाज में देर हो जाए, तो यह जानलेवा बन सकता है.
कैसे बचें बर्ड फ्लू से?* संक्रमित पक्षियों या उनके संपर्क से बचें.* कच्चे या अधपके मांस और अंडों से परहेज करें.* सफाई का ध्यान रखें और नियमित रूप से हाथ धोएं.* अगर फ्लू के लक्षण दिखें, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें.
वैज्ञानिकों की अपीलवैज्ञानिकों का कहना है कि सभी देशों को इस वायरस पर नजर रखनी चाहिए और इसके खिलाफ एहतियातन कदम उठाने चाहिए. वैक्सीन और दवाइयों के विकास में तेजी लाने की जरूरत है.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.



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