Allahabad central university student leaders raised controversy not getting manad upadhi d litt lyricist gulzar

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Allahabad central university student leaders raised controversy not getting manad upadhi d litt lyricist gulzar



प्रयागराज. इलाहाबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी (Allahabad Central University) के दीक्षांत समारोह में मशहूर गीतकार गुलजार (Lyricist Gulzar) को डी लिट (D litt) की मानद उपाधि नहीं मिलने को लेकर विश्वविद्यालय के पूर्व छात्रनेता ने सवाल खड़े कर दिए हैं. इलाहाबाद विश्वविद्यालय के पूर्व छात्रनेता ने कहा की केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान खुद तो दीक्षांत समारोह का हिस्सा बन गए, लेकिन उन्हीं की मंजूरी नहीं मिलने से गीतकार गुलजार को डी लिट की मानद उपाधि नहीं दी जा सकी, जो विश्वविद्यालय की गरिमा के खिलाफ भी है और बेहद खेदजनक भी है. वहीं विवाद शुरू होने के बाद इलाहाबाद विश्वविद्यालय प्रशासन गीतकार गुलजार को मंत्रालय से मंजूरी मिलने के बाद मानद उपाधि देने की बात कह रहा है.
दरअसल, अगस्त 2021 में इलाहाबाद केन्द्रीय विश्वविद्यालय की कार्य परिषद व एकेडमिक काउंसिल ने सर्वसम्मति से गीतकार गुलजार को मानद की उपाधि देने पर सहमति दी थी. जिसको लेकर गुलजार से उनकी सहमति भी मांगी गई. साथ ही शिक्षा मंत्रालय को मानद उपाधि की मंजूरी के लिए प्रस्ताव भेज दिया गया, हालांकि दो महीने से अधिक समय बीतने के बावजूद गीतकार गुलजार को डी लिट की मानद उपाधि देने की मंजूरी नहीं मिल सकी. इसके चलते 8 नवंबर को आयोजित दीक्षांत समारोह में गुलजार साहब को मानद उपाधि नहीं दी जा सकी, जबकि गीतकार गुलजार ने इलाहाबाद केन्द्रीय विश्वविद्यालय के प्रस्ताव पर अपनी सहमति दे दी थी.
इलाहाबाद केन्द्रीय विश्वविद्यालय की पीआरओ प्रो जया कपूर ने कहा है कि गीतकार गुलजार साहब की योग्यता और काबिलियत को देखते हुए ही विश्वविद्यालय कार्य परिषद और एकेडमिक काउंसिल ने उन्हें डिलिट की मानद उपाधि देने पर अपनी मंजूरी दी थी. इसका प्रपोजल भी शिक्षा मंत्रालय को पहले ही भेजा गया है. उन्होंने कहा है कि इसकी प्रक्रिया थोड़ा जटिल होती है, जिसके चलते अभी तक गुलजार साहब के नाम को लेकर मंत्रालय और सरकार की मंजूरी नहीं मिल सकी है.
पीआरओ जया कपूर ने कहा है कि गुलजार साहब को मानद उपाधि देने का प्रस्ताव प्रक्रिया में है, जैसे ही मंजूरी मिलती है तो विश्वविद्यालय एक प्रोग्राम आयोजित करके उन्हें डीलिट की मानद उपाधि प्रदान करेगा. इसके लिए किसी को भी किसी तरह की धारणा नहीं बनानी चाहिए.
गौरतलब है कि इलाहाबाद केन्द्रीय विश्वविद्यालय ने 8 नवंबर को सत्र 2018-19 और 2019-20 का दीक्षांत समारोह का आयोजन किया, जिसमें करीब 7 सौ छात्र छात्राओं को अलग अलग विषयों में मेडल और उपाधि दी गई. मुख्य अतिथि के तौर पर केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने भी शिरकत की. इस दीक्षांत समारोह के लिए इलाहाबाद विश्वविद्यालय ने मशहूर गीतकार गुलजार को मानद उपाधि डीलिट देने की तैयारियां की थीं, हालांकि उसके लिए जरूरी प्रक्रिया समय से पूरी नहीं होने के चलते सरकार और मंत्रालय से मंजूरी नहीं मिल सकी. जिसकी वजह से 8 नवंबर को आयोजित दीक्षांत समारोह में गुलजार को मानद उपाधि नहीं दी जा सकी.पढ़ें Hindi News ऑनलाइन और देखें Live TV News18 हिंदी की वेबसाइट पर. जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश, बॉलीवुड, खेल जगत, बिज़नेस से जुड़ी News in Hindi.



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