क्रिस्पी फ्रेंच फ्राइज या स्नैक्स खाने का मन हो और वो भी बिना तेल में तले हुए, तो एयर फ्रायर को कई लोग हेल्दी ऑप्शन मानते हैं. बिना तेल के तला हुआ खाना न सिर्फ कम कैलोरी वाला होता है बल्कि सेहत के लिए भी फायदेमंद माना जाता है. लेकिन क्या हो अगर आपका यही हेल्दी ऑप्शन कैंसर का खतरा बढ़ा दे?
हाल ही में सोशल मीडिया पर कई हेल्थ इंफ्लुएंसर्स और एक्सपर्ट्स ने दावा किया है कि एयर फ्रायर में पका खाना आपकी सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है. इसे लेकर लोगों में चिंता बढ़ गई है. अब इस मुद्दे पर हार्वर्ड और स्टैनफोर्ड से प्रशिक्षित गैस्ट्रोएंटेरोलॉजिस्ट डॉ. सौरभ सेठी ने बड़ा दावा किया है कि एयर फ्रायर में पकाए गए खाने में कैंसर पैदा करने वाले कैमिकल्स का खतरा जरूर हो सकता है, लेकिन यह पारंपरिक डीप फ्राई की तुलना में काफी कम होता है. हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि अब तक इस बात के ठोस वैज्ञानिक प्रमाण नहीं हैं कि एयर फ्रायर में बना खाना इंसानों में कैंसर का कारण बनता है.
क्या कहते हैं एक्सपर्ट?एयर फ्रायर एक ऐसी किचन अप्लायंस है, जो गर्म हवा को तेज गति से घुमाकर खाने को क्रिस्पी बनाता है. यह आमतौर पर 175-400°F (80-200°C) के तापमान पर काम करता है और ओवन की तुलना में जल्दी खाना पकाता है. लेकिन जब खाना हाई हीट पर पकाया जाता है तो उसमें एक्रिलामाइड नामक कैमिकल बन सकता है. यह कैमिकल खासतौर पर आलू, ब्रेड और स्टार्च रिच फूड में बनता है. डॉ. सौरभ सेठी का कहना है कि लैब टेस्ट में पाया गया है कि एक्रिलामाइड की उच्च मात्रा से जानवरों में कैंसर का खतरा बढ़ सकता है, लेकिन इंसानों में इसके प्रभाव को लेकर अभी तक ठोस प्रमाण नहीं मिले हैं. उनका कहना है कि डीप फ्राइंग की तुलना में एयर फ्रायर में एक्रिलामाइड का स्तर कम होता है, जिससे इसका खतरा भी कम हो जाता है.
क्या उपाय अपनाएं?डॉ. सेठी के मुताबिक, एयर फ्रायर का इस्तेमाल करते समय कुछ सावधानियां बरती जाएं तो इसका खतरा कम किया जा सकता है:* खाने को जरूरत से ज्यादा क्रिस्पी या जलाने से बचें, क्योंकि जलने पर हानिकारक तत्व ज्यादा बनते हैं.* हाई स्मोक पॉइंट वाला तेल (जैसे एवोकाडो या रिफाइंड तेल) इस्तेमाल करें, ताकि ऑक्सीडेशन का खतरा कम हो.* ज्यादा हाई हीट पर पकाने से बचें और मीडियम टेंपरेचर पर खाना पकाएं.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.