Last Updated:March 11, 2025, 14:41 IST
बहराइच नगर पालिका की अधिशासी अधिकारी प्रमिता सिंह की सफलता संघर्ष भरी रही. आर्थिक तंगी के बावजूद लोन लेकर पढ़ाई की, 10 साल प्राइवेट नौकरी की, फिर अधिकारी बनीं. मां बनने के बाद भी हार नहीं मानी और महिलाओं को प…और पढ़ेंX
अधिशासी अधिकारी बहराइच!बहराइच- बहराइच नगर पालिका की अधिशासी अधिकारी प्रमिता सिंह की सफलता की कहानी किसी के लिए भी प्रेरणा बन सकती है. उनके लिए यह सफर आसान नहीं था. उन्होंने बताया कि उनका परिवार आर्थिक रूप से बहुत मजबूत नहीं था, लेकिन उन्होंने लोन लेकर अपनी पढ़ाई पूरी की.
10 साल की प्राइवेट नौकरी के बाद मिली सफलतापरिवार की जिम्मेदारियों को निभाते हुए प्रमिता सिंह ने 10 साल तक प्राइवेट नौकरी की, जिसके बाद उन्हें अधिशासी अधिकारी बनने का गौरव प्राप्त हुआ. इस दौरान कई चुनौतियां आईं, लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी.
इच्छाशक्ति ही सफलता की कुंजीप्रमिता सिंह के अनुसार, सफलता का सबसे बड़ा राज इच्छाशक्ति (Will Power) है. उन्होंने लगातार 35 वर्ष की आयु तक पढ़ाई जारी रखी और कई बार असफलताओं का सामना करने के बावजूद अपने लक्ष्य को हासिल किया. जब उन्हें नौकरी मिली, तो उनके परिवार में खुशी की लहर दौड़ गई. माता-पिता का गर्व से सीना चौड़ा हो गया, और जो लोग पहले ताने देते थे, वे भी चुप हो गए.
मां बनने के बाद बनी अधिकारीशादी और मां बनने के बाद भी प्रमिता सिंह ने अपनी पढ़ाई और करियर को जारी रखा. ग्रेजुएशन के बाद लगा कि पढ़ाई रुक जाएगी, लेकिन उन्होंने ट्यूशन पढ़ाना शुरू किया और जब इससे भी जरूरत पूरी नहीं हुई, तो बैंक से लोन लिया. परिवार की आर्थिक स्थिति और लोन चुकाने की जिम्मेदारी के बीच संघर्ष करते हुए उन्होंने 10 साल प्राइवेट नौकरी की और फिर सरकारी अधिकारी बनने का सपना साकार किया.
दूसरों के लिए प्रेरणा बनीं प्रमिता सिंहआज प्रमिता सिंह बहराइच नगर पालिका परिषद में अधिशासी अधिकारी (EO) के पद पर कार्यरत हैं. वे न केवल अपनी नौकरी की जिम्मेदारी निभा रही हैं, बल्कि एक मां और पत्नी के रूप में भी अपनी भूमिकाओं को बखूबी निभा रही हैं.
महिलाओं के लिए खास संदेशउनका मानना है कि अगर महिलाएं खुद पर विश्वास रखें और निरंतर प्रयास करें, तो सफलता जरूर मिलेगी. उन्होंने अन्य महिलाओं से कहा कि मुश्किलों से घबराने के बजाय उन्हें चुनौती समझकर आगे बढ़ना चाहिए.
Location :Bahraich,Uttar PradeshFirst Published :March 11, 2025, 14:41 ISThomebusinessलोन लेकर पढ़ाई, 10 साल संघर्ष, फिर बनीं अधिकारी, जो कभी ताने मारते थे, वही अब