IIT JEE Story: जिस उम्र में बच्चे को ये पता नहीं होता है कि की आगे चलकर किस चीज की पढ़ाई करें. जिससे भविष्य उज्जवल बन सकें. लेकिन आज हम एक ऐसे लड़के के बारे में बताने जा रहे हैं, जो कक्षा छठी से इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने के लिए जेईई की तैयारी शुरू कर दी थी. आखिरकार उनकी मेहनत रैंक लाई और वह जेईई मेन की परीक्षा को पास करने में सफल रहे. वह बचपन से इंजीनियर बनने का सपना देखते थे. इनका नाम रक्षिन रमेश (Rakshin Ramesh) है.
माता-पिता हैं इंजीनियररक्षिन रमेश चेन्नई में पले-बढ़े और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) मद्रास से कुछ ही दूरी पर रहकर, इस प्रतिष्ठित संस्थान का हिस्सा बनने का सपना हमेशा से उनके मन में था. इंजीनियर माता-पिता के घर में पले-बढ़े, रक्षिन रमेश इंजीनियरिंग और तकनीक के प्रति एक खास लगाव हो गया था. बचपन में वह अपने भाई के साथ प्रोजेक्ट्स पर काम करने और रोबोटिक्स में दिलचस्पी लेने के बाद, उन्हें यकीन हो गया कि उनका भविष्य इसी क्षेत्र में है.
जेईई की तैयारी कक्षा छठी से की शुरूमीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार आईआईटी से पढ़ाई करने के लिए रक्षिन ने कक्षा 6 से ही JEE की तैयारी शुरू कर दी थी. यह सिर्फ प्रतिस्पर्धा के माहौल का हिस्सा बनने का विषय था, जिसने उन्हें बेहतर करने के लिए प्रेरित किया. कक्षा 9वीं में वह महर्षि विद्या मंदिर में इंटीग्रेटेड प्रोग्राम में शामिल हो गए. हालांकि केमेस्ट्री की रटंत प्रक्रिया से संघर्ष करना एक चुनौती थी, लेकिन उन्होंने फिजिक्स और मैथ पर अपना फोकस रखा.
चौथे प्रयास में क्रैक किया जेईईकोविड लॉकडाउन की वजह से जेईई की तैयारी में रक्षिन को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. ऑनलाइन कक्षाओं ने रूटीन खराब किया, लेकिन सेल्फ डिसिप्लिन बनाए रखना चुनौतीपूर्ण हो गया. इसके बावजूद उन्होंने अपने चौथे प्रयास के लिए एक ठोस योजना बनाई, जिसमें अपने मजबूत विषयों पर ध्यान केंद्रित करते हुए रणनीति तैयार की. अंततः, इस प्रयास ने उन्हें वह रैंक दिलाई, जिसने IIT मद्रास के दरवाजे खोल दिए.
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Tags: Iit, IIT Madras, JEE Advance, JEE Exam, Jee mainFIRST PUBLISHED : December 8, 2024, 16:27 IST