Navratri 2024: आज ऐसे करें माता कालरात्रि की पूजा, रोग, भय और शत्रुओं का होगा नाश, काशी के ज्योतिषी से जानें विधि

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Navratri 2024: आज ऐसे करें माता कालरात्रि की पूजा, रोग, भय और शत्रुओं का होगा नाश, काशी के ज्योतिषी से जानें विधि

अभिषेक जायसवाल/ वाराणसी: शारदीय नवरात्र के 6 दिन बीत चुके हैं और आज 9 अक्टूबर बुधवार को नवरात्रि का सातवां दिन है. नवरात्रि के सातवें दिन देवी के कालरात्रि स्वरूप की  पूजा का विधान है. देवी का यह स्वरूप भयंकर है. धार्मिक मान्यता है कि देवी के कालरात्रि स्वरूप के दर्शन और पूजन से भय, रोग और शत्रुओं का नाश होता है. इसके अलावा भूत प्रेत बाधा से भी उन्हें मुक्ति मिल जाती है.देवी कालरात्रि को महाकाली, भद्रकाली, चामुंडा, चंडी, भैरवी जैसे विनाशकारी स्वरूपों में से एक माना जाता है. काशी के ज्योतिषाचार्य पंडित संजय उपाध्याय ने बताया कि देवी के विधिवत पूजन अर्चन से भूत, प्रेत, पिशाच जैसे सभी नकारात्मक शक्तियों का नाश होता है. इसके अलावा इनकी पूजा से रोग और हर तरह का भय भी समाप्त होता है.

ऐसा है देवी का स्वरूप

पुराणों के अनुसार माता कालरात्रि के शरीर का रंग एकदम काला है. इनके बाल बिखरे और गले में चमकती नरमुंड की माला है. इनकी चार भुजाएं और तीन नेत्र हैं. इनका एक हाथ वरमुद्रा  और दूसरा अभयमुद्रा में है.  इसके अलावा एक हाथ में कटार और खड्ग है. देवी का यह रूप शत्रुओं के लिए विनाशकारी है.

इन फूलों से करें पूजा

पंडित संजय उपाध्याय ने बताया कि नवरात्रि के सातवें दिन देवी के पूजन के दौरान उन्हें लाल गुड़हल की माला या नीला फूल अर्पित करना चाहिए. इसके अलावा उन्हें बेलपत्र भी चढ़ाना चाहिए.

लगाएं ये भोग

भोग के रूप में देवी को मिष्ठान भी चढ़ाया जा सकता है. इसके अलावा यदि पान के पत्ते पर मिश्री और माखन का भोग लगाया जाए तो इससे भी देवी प्रसन्न होती है और उनकी कृपा भक्तों पर बनी रहती है.

इस मंत्र का करें जाप

इनके पूजा के दौरान ‘या देवी सर्वभू‍तेषु माँ कालरात्रि रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:।।’ इस मंत्र का जप करना चाहिए.इसके अलावा आप ‘ॐ ऐं ह्रीं क्रीं कालरात्रै नमः’ मंत्र का जाप भी कर सकते हैं.
Tags: Hindi news, Local18, Religion 18FIRST PUBLISHED : October 9, 2024, 07:56 ISTDisclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी, राशि-धर्म और शास्त्रों के आधार पर ज्योतिषाचार्य और आचार्यों से बात करके लिखी गई है. किसी भी घटना-दुर्घटना या लाभ-हानि महज संयोग है. ज्योतिषाचार्यों की जानकारी सर्वहित में है. बताई गई किसी भी बात का Local-18 व्यक्तिगत समर्थन नहीं करता है.

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