Depression risk increase due to this one task during pregnancy it also have bad impact on child | प्रेग्नेंसी में इस एक काम से बढ़ जाता है डिप्रेशन का खतरा, बच्चे पर भी पड़ता है बुरा असर

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Depression risk increase due to this one task during pregnancy it also have bad impact on child | प्रेग्नेंसी में इस एक काम से बढ़ जाता है डिप्रेशन का खतरा, बच्चे पर भी पड़ता है बुरा असर



प्रेग्नेंसी एक महिला के जीवन का बेहद खास और सेंसिटिव समय होता है, लेकिन इस दौरान मेंटल हेल्थ को नजरअंदाज करना खतरनाक साबित हो सकता है. एक्सपर्ट के अनुसार, प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं में नेगेटिव सोच और तनाव के कारण डिप्रेशन का खतरा बढ़ जाता है, जो न केवल मां बल्कि अजन्मे बच्चे की सेहत पर भी गंभीर असर डाल सकता है.
प्रेग्नेंसी के दौरान हार्मोनल बदलाव के कारण महिलाएं शारीरिक और मानसिक रूप से कई उतार-चढ़ाव का सामना करती हैं. इन बदलावों के कारण कई बार महिलाएं तनाव, चिंता और नेगेटिव सोच से घिर जाती हैं. इस दौरान, यदि वे लगातार नेगेटिव विचारों से घिरी रहती हैं, तो इसका सीधा असर उनके मेंटल हेल्थ पर पड़ता है, जिससे डिप्रेशन का खतरा बढ़ जाता है.
नेगेटिव सोच के कारण महिलाओं में नींद की कमी, भूख में बदलाव और आत्मविश्वास की कमी जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं. इसके साथ ही, प्रेग्नेंसी के दौरान डिप्रेशन से जूझ रही महिलाएं खुद को अलग-थलग महसूस करती हैं, जो उनके और उनके बच्चे के सेहत के लिए हानिकारक साबित हो सकता है.
बच्चे पर असरमां के मानसिक सेहत का सीधा असर बच्चे के शारीरिक और मानसिक विकास पर पड़ता है. शोधकर्ताओं के अनुसार, यदि मां प्रेग्नेंसी के दौरान डिप्रेशन से पीड़ित होती है, तो इससे बच्चे के जन्म के बाद उसके मानसिक और शारीरिक विकास में देरी हो सकती है. इसके अलावा, प्रेग्नेंसी के दौरान तनाव और एंग्जाइटी के कारण समय से पहले प्रसव और शिशु का वजन कम होने का खतरा भी बढ़ जाता है.
डिप्रेशन से बचने के उपायविशेषज्ञों का मानना है कि प्रेग्नेंसी के दौरान पॉजिटिव सोच और मेंटल हेल्थ का ध्यान रखना बेहद जरूरी है. इसके लिए महिलाओं को तनाव से बचने के लिए ध्यान, योग और रिलेक्सेशन तकनीकों का सहारा लेना चाहिए. परिवार और दोस्तों के साथ बातचीत बनाए रखना और अपने अनुभव शेयर करना भी मेंटल हेल्थ को बेहतर बनाने में मददगार साबित हो सकता है. इसके अलावा, अगर गर्भवती महिला को लगातार उदासी, चिंता या चिड़चिड़ापन महसूस हो रहा है, तो उसे तुरंत मेंटल हेल्थ एक्सपर्ट से सलाह लेनी चाहिए. प्रेग्नेंसी के दौरान शारीरिक और मानसिक सेहत का ध्यान रखना न केवल मां के लिए बल्कि बच्चे के लिए भी जरूरी है.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.



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