Why this deadly virus named Chandipura? this mysterious disease is wreaking havoc on children | इस जानलेवा वायरस का नाम ‘चांदीपुरा’ क्यों पड़ा? बच्चों के लिए काल बन रही रहस्यमय बीमारी

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Why this deadly virus named Chandipura? this mysterious disease is wreaking havoc on children | इस जानलेवा वायरस का नाम 'चांदीपुरा' क्यों पड़ा? बच्चों के लिए काल बन रही रहस्यमय बीमारी



गुजरात और राजस्थान में इन दिनों एक रहस्यमयी वायरस का खतरा मंडरा रहा है. इस वायरस का नाम है ‘चांदीपुरा’. यह वायरस मुख्य रूप से बच्चों को प्रभावित करता है और इसके लक्षण काफी गंभीर होते हैं. इस वायरस ने गुजरात के अरावली और साबरकांठा जिलों को प्रभावित किया है. इन जिलों में छह बच्चों की संदिग्ध संक्रमण से दुखद मौत हो गई है.
गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री ऋषिकेश पटेल ने कहा कि मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य में चांदीपुरा वायरस से संदिग्ध रूप से छह मौतें हुई हैं. सैंपल के जांच के नतीजे आने के बाद ही ये पता चलेगा कि ये मौतें चांदीपुरा बीमारी की वजह से हुई हैं या नहीं. उन्होंने आगे कहा कि चांदीपुरा वायरल इंसेफेलाइटिस बीमारी से घबराने की जरूरत नहीं है, लेकिन सावधानी बरतना जरूरी है. आपको बता दें कि गुजरात और राजस्थान में फैले इस रहस्यमयी वायरस ने देशभर के लोगों की चिंता बढ़ा दी है. आइए इस वायरस के बारे में आपको हम अधिक जानकारी देते हैं.
इस जानलेवा वायरस का नाम कैसे पड़ा ‘चांदीपुरा’?माना जाता है कि यह वायरस 1966 में महाराष्ट्र के नागपुर जिले के चांदीपुर गांव में पहली बार सामने आया था. उस समय 15 साल तक के बच्चों की रहस्यमयी मौतें हुई थीं. बाद में पता चला कि इन मौतों की वजह कोई वायरस ही था। तभी से इस वायरस का नाम ‘चांदीपुरा’ पड़ गया.
चांदीपुरा वायरस के लक्षण क्या हैं?* तेज बुखार* उल्टी* दस्त* सिरदर्द* दिमाग में सूजन (एन्सेफेलाइटिस)
यह वायरस कैसे फैलता है?यह वायरस वेसिकुलोवायरस गण का सदस्य है और संक्रमित मच्छर, टिक या सेंडफ्लाइ के काटने से फैलता है. सैंडफ्लाई एक छोटा सा मक्खी होता है, जो आमतौर पर ग्रामीण इलाकों में पाया जाता है.
किन्हें है ज्यादा खतरा?यह वायरस मुख्य रूप से 9 महीने से 14 साल तक के बच्चों को प्रभावित करता है.
इस वायरस से बचाव कैसे करें?* मच्छर और सैंडफ्लाई से बचाव के लिए मच्छरदानी का इस्तेमाल करें.* स्किन को ढकने वाले कपड़े पहनें.* सैंडफ्लाई के प्रजनन स्थलों को नष्ट करें.* बच्चों को नियमित रूप से टीकाकरण करवाएं.
गुजरात और राजस्थान में इस वायरस की स्थिति क्या है?गुजरात में इस वायरस के 9 मामले सामने आए हैं, जिनमें से 3 मामले दूसरे राज्यों से आए लोगों के हैं. राजस्थान में भी इस वायरस का एक मामला सामने आया है. गुजरात में 6 मौतें हुई हैं, लेकिन अभी तक यह पुष्टि नहीं हो सकी है कि इन मौतों की वजह चांदीपुरा वायरस ही है.



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