विशाल भटनागर/मेरठ : आजकल युवाओं में शॉर्ट फिल्म, रील्स बनाने की प्रति काफी क्रेज देखने को मिल रहा है. जिसके माध्यम से वह यूट्यूब सहित अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म से अच्छी कमाई भी कर रहे हैं. लेकिन अधिकतर युवा इटेंट और कंटेंट में काफी उलझे हुए दिखाई देते हैं, जिससे उन्हें सफलता नहीं मिलती. इन दिनों शॉर्ट फिल्म, रील्स भारी डिमांड में है. हालांकि कुछ लोग रील्स बनाकर परेशान हो गए हैं, क्योंकि ही उनकी रील्स न वायरल हो रही है और न ही रील्स पर व्यूज आ रहे हैं, तो हम आपको कुछ आसान टिप्स बताएंगे, जो आपकी रील्स वायरल करने में मदद करेगी.
अगर आपको भी शॉर्ट फिल्म और रील्स बनाने का शौक है. इस क्षेत्र में आप अपना कैरियर बनाना चाहते हैं तो ऐसे सभी युवाओं के लिए शॉर्ट फिल्म और रील्स का कंटेंट महत्वपूर्ण है. जो भी कंटेंट, एडिटिंग पर फोकस करते हुए आगे बढ़ेगा. वही युवा सोशल मीडिया के इस क्षेत्र में अपना भविष्य बना सकता है. यह बात लोकल 18 से खास बातचीत करते हुए शॉर्ट फिल्म डायरेक्टर और द कश्मीर फाइल्स सहित विभिन्न फिल्मों में अभिनय करने वाले एक्टर शुभम शर्मा एवं शॉर्ट फिल्म डायरेक्टर रवि कर्णवाल ने बताया.
शॉर्ट फिल्म में कंटेंट की अहम भूमिकाद कश्मीर फाइल्स में पुलिस वाले का अहम किरदार निभाने वाले अभिनेता शुभम शर्मा कहते हैं कि किसी भी क्षेत्र में अगर आपको आगे बढ़ना हो तो उस फील्ड की बारीक जानकारी होना आवश्यक है. आज के समय में अगर आप शॉर्ट फिल्म या सोशल मीडिया रील्स में कैरियर बनाना चाहते हैं. तो उसमें आपका कंटेंट पर ध्यान देना होगा. आज के समय में लोग तेजी से वायरल होने के लिए अमर्यादित कंटेंट का उपयोग करते हैं लेकिन यह भविष्य नहीं है. इस क्षेत्र में अगर आपको बेहतर भविष्य बनाना है. इस तरह के कंटेंट से दूर रहना चाहिए.
कॉपीराइट का रखें ध्यानशॉर्ट फिल्म डायरेक्टर रवि कर्णवाल कहते हैं कि आजकल फेसबुक रील्स, इंस्टाग्राम रील्स और यूट्यूब शॉर्ट्स का जमाना है. जिसमें लोग म्यूजिक और गाने का इस्तेमाल करते हैं और यहां कॉपीराइट की तलवार अटक सकती है. इसलिए म्यूजिक का इस्तेमाल करते समय सावधान रहना चाहिए नहीं तो केस हो सकता है. इंस्टाग्राम, फेसबुक और यूट्यूब जैसे सोशल प्लेटफॉर्म्स, जो रील्स और शॉर्ट्स में म्यूजिक या गाने लगाने का ऑप्शन देते हैं, उनके पास अपना इनबिल्ट म्यूजिक कैटेलॉग होता है. इस कैटेलॉग में मौजूद गानों के लिए ये प्लेटफॉर्म्स खुद इनके ओनर या क्रिएटर से अधिकार लेते हैं.
विषय पर करें फोकसशॉर्ट फिल्म या रील्स को एडिट करते समय संबंधित विषय पर ज्यादा फोकस करना चाहिए. कई बार ऐसा होता है कि हम जो बात दर्शकों से कहना चाहते हैं वो उसपर हमारा फोकस ही बहुत बड़ी वीडियो में नहीं होता. कई बार फिल्मों की कहानी भी उलझ जाती है.
शब्दों का भंडार जरूरीतिलक पत्रकारिता एवं जनसंचार स्कूल के डायरेक्टर प्रोफेसर प्रशांत कुमार कहते हैं कि युवाओं को साहित्य जरूर पढ़ना चाहिए. क्योंकि जब हम फिल्मी दुनिया की बात करते हैं तो हमारे पास बड़ी संख्या में शब्दों का भंडार होना चाहिए. जो शब्द हमें किताबों या साहित्य से ही मिल सकते हैं.
.Tags: Local18, Meerut news, Uttar Pradesh News HindiFIRST PUBLISHED : February 25, 2024, 18:53 IST
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