indian first olympic champion abhinav bindra is the torch bearer for the upcoming paris olympic games | Abhinav Bindra: भारत के लिए गर्व का मौका, अभिनव बिंद्रा को सौंपी गई पेरिस ओलंपिक की बड़ी जिम्मेदारी

admin

indian first olympic champion abhinav bindra is the torch bearer for the upcoming paris olympic games | Abhinav Bindra: भारत के लिए गर्व का मौका, अभिनव बिंद्रा को सौंपी गई पेरिस ओलंपिक की बड़ी जिम्मेदारी



Abhinav Bindra: ओलंपिक खेलों में भारत के पहले गोल्ड मेडल विनर अभिनव बिंद्रा को 26 जुलाई से 11 अगस्त तक फ्रांस की राजधानी में होने वाले 2024 पेरिस ओलंपिक खेलों के लिए मशाल वाहक() चुना गया है. 2008 में बीजिंग ओलंपिक खेलों में पुरुषों की 10 मीटर एयर राइफल में गोल्ड मैडल जीतने वाले बिंद्रा 16 अप्रैल से 26 जुलाई तक आयोजित होने वाली ओलंपिक मशाल रिले का हिस्सा होंगे. बिंद्रा ने सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए यह जानकारी देते हुए खुशी जाहिर की है.
सोशल मीडिया पर किया पोस्ट बिंद्रा ने अपने इंस्टाग्राम हैंडल पर एक पोस्ट में कहा, ‘यह साझा करने के लिए उत्साहित हूं कि मैं पेरिस ओलंपिक खेलों के लिए मशाल वाहक बनूंगा. दुनिया भर में शांति और दृढ़ता का प्रतीक बनूंगा. यह लौ हमारी सामूहिक भावना और सपनों की शक्ति का प्रतिनिधित्व करती है. एक महान विशेषाधिकार और सम्मान!’ बता दें कि बिंद्रा इंटरनेशनल ओलंपिक कमिटी (आईओसी) के एथलीट आयोग के मेंबर भी हैं.

फ्रांस से शुरू होगी यात्रा 
पेरिस 2024 ओलंपिक मशाल रिले 8 मई 2024 को फ्रांस में अपनी यात्रा शुरू करेगी और फ्रांसीसी क्षेत्रों में 68 दिनों की यात्रा से पहले लौ मार्सिले पहुंचेगी. मशाल रिले 68 दिनों तक चलेगी, जिसके दौरान यह पांच विदेशी क्षेत्रों सहित 65 क्षेत्रों को कवर करेगी. रिले में 10,000 मशाल वाहक शामिल होंगे, जिनमें 3000 मशाल वाहक टीम रिले में भाग लेंगे और 400 शहरों का दौरा करेंगे. मशाल ग्रीस में ओलंपिया के पास जलाई जाएगी और उस देश में शुरुआती यात्रा होगी, जहां से प्राचीन ओलंपिक की शुरुआत हुई थी. 
समुद्र के जरिए होगी यात्रा 
ओलंपिया, ग्रीस में प्रज्वलित होने के बाद ओलंपिक लौ का मार्ग बेलेम पर सवार होकर समुद्र में अपनी यात्रा शुरू करेगा, जो एक शानदार थ्री मस्टेड वाला जहाज है. यह एथेंस से मार्सिले तक भूमध्य सागर को पार करेगा. इसके बाद ओलंपिक मशाल रिले फ़्रांस के क्षेत्रों, मुख्य जगह से लेकर इसके विदेशी विभागों और क्षेत्रों का प्रदर्शन करेगी, जिससे सभी को मशाल देखने का अवसर मिलेगा. मशाल धारकों का चयन एक विस्तृत प्रक्रिया के जरिए किया गया है जो 1 जून, 2023 को शुरू हुई.
(एजेंसी इनपुट के साथ)  



Source link