रजत भट्ट/गोरखपुर: मौसम बदलते ही लोगों के डेली रूटीन में भी बदलाव आता है. लोग मौसम के हिसाब से खुद को चेंज कर लेते हैं. कुछ ऐसा ही जानवरों के साथ भी होता है. मौसम बदलते ही लोग अपने खान-पान में चेंज करते हैं. तो वहीं बदलते मौसम के साथ शहर के जू में भी अब जानवरों के डाइट प्लान को बदला जाएगा. अब अपने बाड़े से बाहर और अंदर निकलने की टाइमिंग भी जानवरों की चेंज हो जाएगी. बदलते मौसम के हिसाब से जू के डॉक्टर अब जानवरों के भी डाइट प्लान को बदलेंगे.मौसम बदलते ही जानवरों के डाइट प्लान भी जू में डॉक्टर बदल देते हैं. अब ठंड आते ही शहीद अशफाक उल्ला खा गोरखपुर चिड़ियाघर में 250 से अधिक रखे जानवरों के भी डाइट प्लान को बदल जाएगा. गर्मी और बरसात में जानवरों के डाइट कुछ और होते हैं. लेकिन ठंड आते ही चिड़ियाघर के कुछ जानवरों के डोज को बढ़ा दिया जाता तो, कुछ जानवरों का डोज कम हो जाता है. चिड़ियाघर में मांसाहारी जानवरों के डाइट को बढ़ा दिया जाता है. जिसमें बाघ, चीता इनके डाइट प्लान बढ़ते हैं तो, वही तेंदुआ, लकड़बग्घा, लोमड़ी के डाइट प्लान 5 किग्रा से बढा कर के 6 किग्रा कर दिया जाता है.रूम हीटर और चटाई की होगी व्यवस्थाशहीद अशफाक अल्लाह खा गोरखपुर चिड़ियाघर के डॉक्टर योगेश बताते हैं कि, ठंड का सीजन आते ही जानवरों के डाइट प्लान को भी बदल दिया जाता है. उनके बाड़े में भी कई बदलाव किए जाते हैं. जो जानवर ठंड में ज्यादा रहते हैं उनके लिए अलग व्यवस्था होती है. जबकि गर्मी में रहने वाले जानवरों के बाड़े में रूम हीटर व चटाई बिछाई जाएगी. ताकि उन्हें ठंड कम लग सके वही, जानवरों के डाइट प्लान में बदलाव किया जाएगा. तोता, चिड़िया, पक्षी को कम दाना पानी दिया जाएगा. कुछ ऐसे जानवर हैं जो ठंड में बाड़े में रहना ज्यादा पसंद करते हैं तो, वही हिप्पो, शेर, बाग यह ठंड में भी अपने बाड़े से ही बाहर रहते हैं..FIRST PUBLISHED : October 26, 2023, 09:27 IST
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