रिपोर्ट: धीरेंद्र शुक्ला
चित्रकूट: चित्रकूट के पाठा क्षेत्र में विंध्य की पहाड़ियों से सटे जंगलों में अति प्राचीन कप मार्क्स मिले हैं. इन शैलचित्रों की खोज करने वाली संस्था का दावा है कि ये निशान हजारों साल पुराने हैं. पुरातत्वविदों ने बताया कि पुराने समय में प्राकृतिक चट्टानों, शिलाखंडों और शिलापट्ट में विभिन्न प्रकार की आकृतियां बनाई जाती थीं, जिन्हें “कप-मार्क/क्युपुले” नाम से जाना जाता है.
इतिहास से जुड़े जानकारों की मानें तो ये कप मार्क्स बहुत खास हैं. अनुमान लगाया गया कि इनका निर्माण खास जगहों को इंगित करने या दिशा का ज्ञान कराए जाने के लिए पुरातन काल में मानव के द्वारा ही किया गया होगा. हालांकि, जंगलों से मिले इन कप मार्क पर अभी अनुसंधान किया जाएगा, ताकि और रहस्य उजागर हो सकें. इसके लिए संस्था ने शोधकर्ताओं से अपील भी की है.
जानकारों का यह भी अनुमान है कि प्रागैतिहासिक काल में मानव सभ्यता इन कप मार्क के माध्यम से ग्रह-नक्षत्रों की जानकारी जुटाती हो. चित्रकूट के प्राचीन स्थलों से जुड़े इतिहास या उसकी संस्कृति को उजागर एवं संरक्षित करने की दिशा में कम कर रही “चित्रकूट अ कल्चरल हेरीटेज” की टीम ने मानिकपुर के शैलाश्रय (रॉक शेल्टर्स) में कप मार्क जैसी आकृतियों वाले ये निशान खोजे हैं, जिन पर आगे का शोध होगा.
चट्टान से बनी दीवारों पर मिले कप मार्क्ससंस्था के संस्थापक अनुज हनुमत और उनकी टीम का दावा है कि उन्होंने मानिकपुर के सरहट, चूल्ही और खंभेश्वर में मौजूद प्राचीन शैलाश्रयों से ये कप मार्क्स खोजे हैं. बताया, सबसे महत्वपूर्ण यह है की ये कप मार्क्स जैसी आकृतियां पाषाणकालीन रॉक शेल्टर्स के अंदर चट्टान से बनी दीवारों पर मिली हैं, जिन्हें मानव द्वारा ही बनाया जा सकता है. टीम ने इतिहास से जुड़े शोधार्थियों और इतिहासकारों से इन कप मार्क्स जैसी आकृतियों पर शोध करने की अपील भी की है. बता दें कि इस संस्था ने पहले भी चित्रकूट के कई स्थानों पर पाषाण कालीन शैलचित्र खोजे हैं.
ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें News18 हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट News18 हिंदी|Tags: Chitrakoot News, UP newsFIRST PUBLISHED : January 16, 2023, 21:04 IST
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